आईसीएसआई प्रक्रिया क्या है और क्यों की जाती है?
What is ICSI procedure and why it is required in hindi
ICSI procedure kya hai aur kyon ki jaati hai in hindi
एक नज़र
- शुक्राणु समस्या से जूझ रहे पुरुषों के लिए आईसीएसआई एक सफल बांझपन उपचार है।
- आईसीएसआई की सिफारिश तभी की जाती है जब स्वाभाविक रूप से फर्टिलाइज़ेशन प्राप्त करना मुश्किल होता है।
- आईसीएसआई की सफलता दर एक बांझपन उपचार के रूप में आईवीएफ से अधिक है।
Introduction

आईसीएसआई एक ऐसी प्रक्रिया है जिसमें एक शुक्राणु को फर्टिलाइज करने के लिए सीधे एक अंडे में इंजेक्ट किया जाता है। [1]
फिर फर्टिलाइजड अंडे को गर्भ में स्थानांतरित कर दिया जाता है और बांझपन का उपचार किया जाता है।
यह कोस्ट इफेक्टिव (cost effective) और सफल उपचारों में से एक है।
यह विधि विशेष रूप से उन पुरुषों के लिए है जिनके पास कम या शून्य शुक्राणु संख्या या गतिशीलता (motility) में कमी है।
शून्य शुक्राणुओं की संख्या के मामले में शुक्राणु या तो अंडकोष (टेसा का उपयोग करके) या एपिडीडिमिस (एमईएसए का उपयोग करके) से निकाला जाता है।
शुक्राणु निकालने के लिए एक तेज और नाज़ुक सुई का उपयोग किया जाता है और फिर इसे अंडे में इंजेक्ट किया जाता है, जिसके बाद सुई को हटा दिया जाता है।
आईसीएसआई का सफलता दर एक बांझपन उपचार के रूप में आईवीएफ से अधिक है।
कभी-कभी, शारीरिक कमियों के कारण गैमीट (gametes) के उत्पादन में भारी कमी हो सकती है या गैमीट की क्वालिटी खराब हो सकती है।
इसके कारण फर्टिलाइजेशन की प्रक्रिया ठीक से नहीं हो पाती है।
सहायक प्रजनन तकनीक (assisted reproduction techniques) के दृष्टिकोण से इन कमियों को दूर करने के दो मुख्य तरीके हैं : कन्वेंशनल इन विट्रो फर्टिलाइजेशन-आईवीएफ (In Vitro Fertilization (IVF) और इंट्रा साइटोप्लास्मिक स्पर्म इंजेक्शन-आईसीएसआई (Intra cytoplasmic sperm injection - ICSI)।
इस लेख़ में
आईवीएफ-आईसीएसआई उपचार किसके लिए सही है?
To whom IVF-ICSI treatment is recommended? in hindi
IVF-ICSI treatment ki salaah kise dee jaati hai in hindi
आईसीएसआई-आईवीएफ उपचार उन दंपतियों के लिए है, जिन्हें स्टैंडर्ड आईवीएफ प्रक्रिया के दौरान सफलता नहीं मिली।
साथ ही साथ उन पुरुषों के लिए भी, जिन्हें निम्नलिखित समस्याएँ हैं : [2]
- खराब शुक्राणु आकृति (Poor sperm morphology)
- कम शुक्राणु गतिशीलता (Poor sperm motility)
- कम शुक्राणु गिनती (A low sperm count)
- पुरुष नसबंदी, जो शुक्राणु को छोड़ने से रोकती है (Sterilization)
- एंटीस्पर्म एंटीबॉडीज (Antisperm antibodies)
क्या कोई विशिष्ट स्थिति है जहाँ आईसीएसआई का सुझाव दिया जाता है?
Is there any specific situations where ICSI might be recommended? in hindi
Kin situations mein ICSI ka sujhav diya jata hai in hindi
आईसीएसआई उपचार की सिफारिश तभी की जा सकती है जब स्वाभाविक रूप से फर्टिलाइज़ेशन मुश्किल हो सकता है।
आईसीएसआई उपचार का उपयोग अक्सर उन दंपत्ति द्वारा किया जाता है जो पुरुष बांझपन का सामना कर रहे हैं।
पुरुष बांझपन के निम्न में से कोई भी कारण शामिल हो सकते हैं :
- कम शुक्राणु,
- शुक्राणु की खराब गतिशीलता,
- खराब शुक्राणु गुणवत्ता,
- शुक्राणु में यदि अंडे को भेदने की क्षमता का अभाव है। [3]
आईसीएसआई निम्न स्थितियों में किया जाता है :
- आईसीएसआई का उपयोग पुरुष बांझपन के इलाज के लिए किया जाता है, जहां वीर्य (semen) में बहुत कम या कोई शुक्राणु नहीं होता है।
अंडकोष (testicles) से पुनर्प्राप्त अपरिपक्व शुक्राणु आमतौर पर गतिशील नहीं होते हैं।
इसीलिए इनका उपयोग आईसीएसआई के माध्यम से एक अंडे को फर्टिलाइज करने के लिए किया जाता है। - यदि किसी दंपत्ति का बांझपन शुक्राणुओं की समस्या से संबंधित नहीं होता है तो आईसीएसआई उपचार का उपयोग किया जा सकता है।
कुछ दंपत्ति इन विट्रो फर्टिलाइज़ेशन के असफल होने पर आईसीएसआई उपचार को चुनते हैं। [4] - आईसीएसआई का उपयोग उन दंपत्तियों द्वारा भी किया जाता है जो कुछ आनुवंशिक समस्याओं (genetic problems) के लिए भ्रूण का परीक्षण करना चाहते हैं।
निष्कर्ष
Conclusionin hindi
Nishkarsh
आईसीएसआई-आईवीएफ उपचार उन दंपतियों के लिए है, जिन्हें स्टैंडर्ड आईवीएफ प्रक्रिया के दौरान सफलता नहीं मिली।
यह एक कम लागत वाली सफल प्रक्रिया है। यह विधि विशेष रूप से उन पुरुषों के लिए है जिनके पास कम या शून्य शुक्राणु संख्या या गतिशीलता है।
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references
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आर्टिकल की आख़िरी अपडेट तिथि: : 03 Jun 2020
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